कंट्रोल यूनिट और इनपुट-आउटपुट फंक्शन को समझाइये।कंट्रोल यूनिट (Control Unit) और इनपुट-आउटपुट (I/O) फंक्शन कम्प्यूटर सिस्टम के दो महत्वपूर्ण घटक हैं जो समग्र कार्यप्रणाली को सुनिश्चित करते हैं। इनका समन्वय कम्प्यूटर को सटीक और प्रभावी ढंग से कार्य करने में मदद करता है।
कंट्रोल यूनिट और इनपुट-आउटपुट फंक्शन को समझाइये।
कंट्रोल यूनिट (Control Unit):
कंट्रोल यूनिट सीपीयू का वह भाग है जो कम्प्यूटर के सभी कार्यों को नियंत्रित और समन्वित करता है। इसका मुख्य कार्य निर्देशों को फेच (प्राप्त), डिकोड (व्याख्या) और एक्जीक्यूट (निष्पादित) करना है। कंट्रोल यूनिट की प्रमुख भूमिकाएँ निम्नलिखित हैं:
- निर्देश फेच करना: कंट्रोल यूनिट प्रोग्राम काउंटर (PC) से अगला निर्देश प्राप्त करती है। यह निर्देश मेमोरी से फेच किया जाता है और कंट्रोल यूनिट को भेजा जाता है।
- निर्देश डिकोड करना: कंट्रोल यूनिट प्राप्त निर्देश को डिकोड करती है ताकि यह समझ सके कि उसे क्या क्रिया करनी है। यह प्रक्रिया ऑपकोड (ऑपरेशन कोड) और ऑपरेट्स (डेटा) को पहचानने के माध्यम से होती है।
- क्रियान्वयन: कंट्रोल यूनिट संबंधित ALU या अन्य घटकों को निर्देश भेजती है ताकि वे आवश्यक ऑपरेशन्स को निष्पादित कर सकें। यह गणना, डेटा ट्रांसफर, या अन्य ऑपरेशन्स हो सकते हैं।
- डेटा प्रवाह को नियंत्रित करना: कंट्रोल यूनिट इनपुट और आउटपुट डिवाइसेस के बीच डेटा प्रवाह को नियंत्रित करती है। यह सुनिश्चित करती है कि डेटा सही स्थान पर और सही समय पर पहुँचे।
- सिस्टम टाइमिंग और सिंक्रोनाइजेशन: कंट्रोल यूनिट कम्प्यूटर के विभिन्न घटकों के कार्यों को समयबद्ध और सिंक्रोनाइज करती है। यह कम्प्यूटर के कार्यों को समन्वित और सुचारू रूप से चलाने में मदद करती है।